राजस्थान सरकार- पद्मावती को लेकर कक्षा बारहवीं की इतिहास की किताब में हुआ खुलासा

11/22/2017 2:30:14 PM

मुंबई: फिल्ममेकर संजय लीला भंसाली की फिल्म पद्मावती काफी विवादों से घिरी हुई है। हाल ही में राजस्थान सरकार ने पद्मावती की "ऐतिहासिक गलतियों" के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया है। हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक राजस्थान में कक्षा 12 की इतिहास की किताब में बताया गया है कि दिल्ली के मुस्लिम सम्राट अलाउद्दीन खिलजी रानी पद्मनी को पाना चाहते थे लेकिन रानी ने उनकी होने की बजाय खुद मरने का फैसला किया। किताब आगे कहती है कि खिलजी को पद्मिनी की सुंदरता ने मंत्रमुग्ध किया था, जब उन्होंने आईने में रानी को देखा तो वह उनके दीवाने हो गए। उन्हें बाद में पता चला था कि रानी श्रीलंका के राजा गंधर्वसेन की बेटी है।

किताब के चौथे अध्याय, ''मुग़ल आक्रमण: प्रकार और प्रभाव" में बताया गया है कि  चित्तौर राजा रावल रतन सिंह की कहानी में उनका 1302 और 1303 के बीच का शासन और मलिक मोहम्मद जयसी के पद्मवत और उनकी पत्नी पद्मिनी है, जिसने 16वीं शताब्दी की किताब जिसने विवादों से भरी फिल्म पद्मावती की नींव रखी। इसके अलावा किताब में कवियों का भी उल्लेख किया गया है जैसे सूरजमल मिशरान और कई इतिहासकार, जिन्हें नहीं लगता कि पद्मनी एक असली ऐतिहासिक चरित्र था। राजपूत करनी सेना और अन्य संगठनों ने फिल्म के निर्माताओं और अभिनेताओं के खिलाफ हिंसक विरोध प्रदर्शन किया है, यहां तक कि पद्मिनी के चित्रण को लेकर उन्हें मौत की धमकियां भी दी गई है। यहां तक कि पद्मिनी और खिलजी के बीच प्रेम सबंधों को अफवाह बताया गया है। 

इतना ही नहीं खिलजी द्वारा देखे जाने वाला पद्मनी के प्रतिबिंब का कोई भी चित्रण समुदाय की महिलाओं के सम्मान का उल्लंघन करता है। प्रदर्शनकारियों का दावा है वह  पद्मनी का एक वास्तविक जीवन चरित्र था  मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री सहित कई राजनेताओं द्वारा एक विश्वास है, जिसने सोमवार को अपने राज्य में फिल्म पर प्रतिबंध लगाया है। 

राजस्थान स्कूल शिक्षा मंत्री वासुदेव देवनाणी ने हिंदुस्तान टाइम्स को बताया कि पुस्तकों की समीक्षा की जाएगी। उन्होंने कहा, "मैं राजस्थान बोर्ड के अध्यक्ष और सचिव से इस पर विचार करने और पुस्तकों की समीक्षा करने के लिए कहूंगा।" 

 करनी सेना के प्रमुख लोकेंद्र सिंह काल्वी ने कहा कि वह पाठ्यपुस्तक के बारे में नहीं जानते थे। उन्होंने कहा, "जब मैं दो दिनों के बाद जयपुर लौटता हूं तो, मैं पद्मिनी के तथ्यों के बारे में इतिहास की इस किताब की जांच करूंगा"। सूत्रों के मुताबिक "यहां राणा रतन सिंह ने अपनी पत्नी पद्मिनी की महान सौंदर्य की एक झलक देखी, जो एक दर्पण के माध्यम से अलाउद्दीन खिलजी के पास है। जिसके बाद अल्लाउद्दीन खिलजी चित्तोर को उसके पास ले जाने की हद तक पहुंचे। "

चित्तौड़गढ़ राजस्थान वेबसाइट का कहना है कि खिलजी ने पूल में पद्मनी की परछाई देखी और उसकी सुंदरता देख वह इतना दिवाना हो गया कि उन्होंने अपनी सेना को रानी का अपहरण करने तक का आदेश दे दिया। 

बता दें कि पद्मावती की रिलीज अब सियासी घमासान का रूप लेती नजर आ रही है। फिल्म पद्मावती के मेकर्स ने फिल्म की रिलीज को टालने जैसा बड़ा फैसला लिया है लेकिन विवाद कम नहीं हो रहा। जहां एक तरफ पद्मावती को बैन करने को लेकर कई बड़े नेता राजपूत संगठनों के साथ खड़े हैं, वहीं कर्नाटक के सीएम सिद्धारमैया ने दीपिका पादुकोण को सपोर्ट करते हुए पद्मावती फिल्म को रिलीज किए जाने की बात कही है।