बिग बॉस: इस एक्टर को नहीं पसंद, मनोरंजन के नाम पर लोगों को परोसा जा रहा है स्वार्थीपन?

1/11/2018 3:43:25 PM

मुंबई: सभी तरह की पॉजिटिव और नेगेटिव आलोचनाओं के बाद भी टीवी रियलिटी शो बिग बॉस टीआरपी के नए रिकॉर्ड तोड़ रहा हैं। लंबे समय से चल रहे इस शो को लेकर हर किसी की अपनी अपनी सोच हैं। ऐसे भी लोग हैं जो इस शो को मनोरंजन के रूप में नहीं देखतें। इन्ही लोगों में अभिनेता करण ओबेरॉय का नाम लिया जा सकता हैं जिन्होंने भारतीय टीवी इंडस्ट्री में अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया हैं। 

करण कहते हैं कि कुछ व्यक्तियों को एक घर में बंद कर दिया जाता है, उनकी बुनियादी प्रवत्ति को कम कर दिया जाता है। अपनी गरिमा को बचाने और ख़त्म करने के विवाद के बीच वे शो चल रहा हैं। एक ऐसे खेल को गेम का नाम दिया जा रहा हैं जिसमे भावनात्मक रूप से, शारीरिक रूप से, मानसिक रूप से या फिर आध्यात्मिक रूप से तोड़ने का प्रयास किया जाता हैं। प्रतिभागियों के माध्यम से लाखों दर्शकों को बांटने की कोशिश होती हैं। प्रतिभागियों के कामुक आनंद को मनोरंजन का नाम देकर दर्शको के समक्ष परोसा जाता हैं। उनका लड़ना, हंसना दर्शकों को अलग अलग विचारधाराओं में बांट देता हैं। शो में कमजोर को दबाया जाता हैं और स्ट्रोंग प्रतिभागी की जय जयकार होती हैं। ऐसे में भावनात्मक, आध्यात्मिक रूप से दर्शको के लिए एक इंसान की मृत्यु की महत्ता घटती जा रही हैं। करण सवाल करते हैं कि क्या इसलिए हम तेज़ी से परेशान हो रहे हैं?

सोसायटी की ऐसी स्थिति को देखते हुए अभिनेता व गायक करण मनोरंजन उद्योग के परिद्र्श्यों को चिंता प्रकट करते हैं। इस मामले को लेकर करण रूस का उदहारण देते हुए कहते है कि दर्शकों के मनोरंजन के लिए वहां पर एक अरबपति व्यक्ति द्वारा आर्थिक पोषित कार्यक्रम का आयोजन होता था। इसमें ईनामी राशी के लिए प्रतिभागी एक दूसरे की जान लेने को भी तत्पर थे। क्या हम भी रूस के उसी दौर में जा रहे हैं। क्या हम खुद को सभ्य कह सकते हैं। इस सवाल को हमारे साथ साथ करण भी खोज रहे हैं।